डायबीटीज एक ऐसी बीमारी है जो एक बार हो जाए तो पूरी तरह से ठीक नहीं हो सकती। लेकिन लाइफस्टाइल में बदलाव कर और ब्लड शुगर लेवल को कम कर आप इस बीमारी को कंट्रोल में जरूर रख सकते हैं।
वैसे तो ब्लड शुगर लेवल बिगड़ने पर व्यक्ति को स्वास्थ संबंधी कई समस्याएं हो सकती हैं लेकिन डायबीटीज के मरीज को यह सीधे अस्पताल पहुंचा सकता है।मानव शरीर में लगातार शुगर के बढ़ते इस्तेमाल के कारण इम्यून सिस्टम काफी कमजोर हो सकता है. इसके कारण मानव शरीर रोग से लड़ने की अपनी प्रतिरोधक क्षमता को खो सकता है. ऐसी स्थिती में सामान्य से भी मौसम बदलाव के कारण सर्दी-जुकाम का होना आम बात हो जाती है.
शरीर में शुगर का इस्तेमाल ब्लड शुगर लेबल को नियंत्रित करने के लिए होता. इसके शरीर में पहुंचते ही इन्सुलिन के बनने से शरीर में जलन काफी हद तक बढ़ जाती है. जिससे स्किन की रेडनेस बढ़ जाती है. ज्यादा शुगर का इस्तेमाल शरीर में मुंहासों की समस्या बढ़ा सकता है. शुगर के ज्यादा इस्तेमाल के कारण स्किन संबंधी ऐलर्जी और एग्जिमा की समस्या बढ़ जाती है.
शुगर की अधिकता के कारण डायबटीज, मोटापा और हाईपरटेंशन का खतरा काफी बढ़ जाता है. जिससे दिल की बिमारी का खतरा सबसे ज्यादा होता है. इन्सुलिन नहीं बनने के कारण ब्लड में मौजूद शूगर डायबटीज और कॉरनरी एथेरोसिलेरोसिस के कारण दिल की मांसपेशियों तक आक्सीजन की कमी हो जाती है. जिसके चलते दिल का दौरा पड़ना सामान्य बात हो जाती है.