वारिस पंजाब दे का प्रमुख अमृतपाल सिंह नशामुक्ति की आड़ में युवाओं को मानव बम के रूप में तैयार कर रहा था। यह सनसनीखेज खुलासा पंजाब पुलिस और खुफिया एजेंसियों की जांच में हुआ है।
अमृतपाल नशा छुड़ाने के अभियान, धर्मप्रचार और अमृतपान के नाम पर युवाओं को इकट्ठा कर रहा था। नशा छुड़ाओ केंद्रों में युवाओं का ब्रेन वॉश किया जा रहा था। इन्हीं के सहारे वह आनंदपुर खालसा फौज (एकेएफ) खड़ी कर रहा था।
अमृतपाल के गांव जल्लूपुर खेड़ा में भी स्थित गुरुद्वारा में चल रहे नशा छुड़ाओ केंद्र में 36 युवाओं को भर्ती किया गया था। अमृतपाल की ””खालसा वहीर”” (एक प्रकार का धार्मिक जुलूस) के सदस्य ही युवाओं की काउंसलिंग करते थे।