पंजाब की भगवंत मान सरकार ने शुक्रवार को विधानसभा के एक दिवसीय विशेष सत्र में चंडीगढ़ में केंद्रीय सेवा नियम लागू करने के विरोध में प्रस्ताव पास किया। भाजपा को छोड़कर सभी दलों ने सीएम मान के इस प्रस्ताव का समर्थन किया और केंद्र के फैसले के खिलाफ सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित किया।

वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने सीएम मान के प्रस्ताव का समर्थन किया। सीएम मान ने चंडीगढ़ और बीबीएमबी में पूर्व की स्थिति बहाल करने संबंधी प्रस्ताव पेश किया है और केंद्र सरकार के सामने चंडीगढ़ को पंजाब को देने का प्रस्ताव रखा है।

सीएम मान ने विधानसभा में इन महान शख्सियतों की प्रतिमा लगाने का एलान किया था। ऐसे में सदन को गुमराह करने वाले अधिकारियों पर कार्रवाई की जाए। चंडीगढ़ में केंद्रीय सेवा नियम लागू करने पर उन्होंने कहा कि विधानसभा में वोट न मिलने की वजह से भाजपा बदले की भावना से काम कर रही है।

इससे पहले पंजाब सरकार कृषि कानूनों और सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) का दायरा बढ़ाने का विरोध पंजाब सरकार विधानसभा में जता चुकी है। दोनों ही मुद्दों पर पिछली सरकारों ने विधानसभा में प्रस्ताव पास किया था।

शिरोमणि अकाली दल के नेता दलजीत सिंह चीमा ने कहा कि पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान द्वारा आज के विशेष सत्र में प्रति माह 300 यूनिट मुफ्त बिजली और 35000 कर्मचारियों को नियमित करने की घोषणा के अलावा चंडीगढ़ मुद्दे पर एक बड़े फैसले का राज्य के लोग बेसब्री से इंतजार कर हैं।