चीन के साथ सीमा को लेकर लंबे समय से भारत का विवाद चल रहा है. दोनों देशों ने बॉर्डर से सटे अपने-अपने इलाकों पर बड़ी तादाद में सैनिकों की तैनाती कर रखी है. अमेरिका ने दावा किया है कि चीन दोनों देशों के बीच जारी शांति वार्ता को गंभीरता से नहीं ले रहा है.
अमेरिका ने भारत-चीन की सीमा विवाद सुलझाने को लेकर अपने समर्थन की बात दोहराई है. अमेरिका का कहना है कि इस मुद्दे पर दोनों देशों के बीच बातचीत होनी चाहिए.
पूर्वी लद्दाख में कुछ पॉइंट्स पर भारत और चीन की सेना के बीच पिछले 3 साल के टकराव जारी है. भारत का इस मुद्दे पर क्लीयर स्टैंड है कि जब तक सीमा पर शांति स्थापित नहीं हो जाती, चीन के साथ द्विपक्षीय संबंध सामान्य नहीं हो सकते हैं.
स्टेट फॉर साउथ एंड सेंट्र एशिया के असिस्टेंट सेक्रेट्री डोनाल्ड लू ने एजेंसी से बातचीत के दौरान कहा,’चीन के साथ जारी सीमा विवाद पर हमारा रुख स्पष्ट है. दोनों देशों को बातचीत के जरिए इसे हल करना चाहिए. हालांकि इसके आसार बेहद कम दिखाई दे रहे हैं. चीन इस बातचीत को गंभीरता से नहीं ले रहा है. इसके विपरीत हम वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर उकसावे वाली एक्टिविटी को नियमित देख रहे हैं.’