मंगोलिया:  भारत और मंगोलिया के सैन्य दल उलानबातार में चल रहे द्विपक्षीय अभ्यास में हिस्सा ले रहे हैं। इस अभ्यास में दोनों देशों की सेनाएं आतंकवाद रोधी अभियानों और सटीक निशानेबाजी की सर्वोत्तम प्रथाओं का आदान-प्रदान कर रही हैं। इससे अंतर-संचालन क्षमता मजबूत हो रही है। अधिकारियों ने रविवार को यह जानकारी दी।

अधिकारियों ने बताया कि संयुक्त अभ्यास के जरिए दोनों देश अपनी मौजूदा सुरक्षा चुनौतियों का प्रभावी जवाब देने की क्षमता को मजबूत कर रहे हैं। इस अभ्यास का नाम ‘नोमैडिक एलीफेंट’ रखा गया है। यह संयुक्त अभ्यास का 17वां संस्करण है, जो 31 मई से 13 जून तक मंगोलिया के विशेष बल प्रशिक्षण केंद्र में चल रहा है। इस अभ्यास का मकसद दोनों देशों की सेनाओं के बीच तालमेल बढ़ाना है।

भारतीय सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि यह अभ्यास संयुक्त राष्ट्र के तहत अर्ध-शहरी और पहाड़ी इलाकों में गैर-परंपरागत अभियानों पर केंद्रित है और इसका मकसद दोनों देशों की कार्यक्षमता बढ़ाना है। यह दो सप्ताह का अभ्यास हर साल भारत और मंगोलिया में बारी-बारी से होता है। पिछला संस्करण जुलाई 2024 में मेघालय के उमरोई में आयोजित किया गया था। यह अभ्यास भारत और मंगोलिया के बढ़ते रक्षा सहयोग को दर्शाता है।

एक अधिकारी ने कहा, आपसी तालमेलन और तत्परता बढ़ाने के लिए व्यापक प्रशिक्षण गतिविधियां चल रही हैं। दोनों देशों की सेनाएं अपनी ऑपरेशनल रणनीतियों को सुधार रही हैं और जटिल इलाकों और माहौल में काम करने की क्षमता विकसित कर रही हैं। उन्होंने बताया कि यह अभ्यास इसलिए खास है क्योंकि यह संयुक्त राष्ट्र के शांति मिशनों की तरह है। ये मिशन वास्तविक दुनिया में होते हैं, जहां कई देशों की सेनाएं अलग-अलग और मुश्किल हालात में साथ मिलकर काम करती हैं।